उत्तराखंडः सूचना संचार से बदल सकती है क्षेत्रीय विकास की सूरत-सुभाष कुमार

गुरुवार, 9 दिसंबर 2010

उत्तराखंडः सूचना संचार से बदल सकती है क्षेत्रीय विकास की सूरत-सुभाष कुमार

देहरादून,08 दिसबंर,सूचना संचार से किसी भी क्षेत्र के विकास की सूरत बदली जा सकती है। आज दुनिया के पास संचार के नए-नए साधनों की उपलब्धता से उस क्षेत्र में भी विकास का राह खोल दी है जहां विकास का पहुंचना मुश्किल था। उत्तराखंड का जौनसार बावर ऐसा ही क्षेत्र है जहां आज विकास की नदी बहती हुई दिखती है।

लेकिन सरकार अभी इतने से ही संतुष्ट नहीं है और इस क्षेत्र के लिए विकास की योजनाओं और नीतियों पर निरन्तर काम चल रहा हैं। इस क्षेत्र के सर्वांगीण विकास के लिए उत्तराखंड सरकार जल्द ही हिमाचल प्रदेश की तर्ज पर ट्राईबल एडवाईजरी कमेटी टीएसी का गठन करेगी। इसके साथ ही चकराता तहसील को जल्द ही जिला बनाया जाएगा।जबकि चकराता के दुर्गम क्षेत्रों से भागने वाले अधिकारियों के खिलाफ कडी कार्रवाई की जाएगी।

ये कहना है उत्तराखंड के मुख्य सचिव सुभाष कुमार का। श्री कुमार जौनसार बावर के कालसी ब्लॉक मुख्यालय के सभागार में साप्ताहिक समाचार पत्र

गढबैराट के पांचवे वार्षिक रचनात्मक सम्मेलन को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे। पत्रकारों एवं समाजसेवियों से खचाखच भरे हॉल में उन्होंने पत्रकारिता को समाज के विकास का सबसे सशक्त माध्यम बताते हुए कहा कि अब समाचार पत्र सिर्फ सूचना के माध्यम नहीं रहें बल्कि वे अब विकास के पथ प्रदर्शक और लोगों को न्याय दिलाने में अपनी महत्ता को सफलतापूर्वक साबित भी कर रहे है। उन्होंने गढबैराट अखबार को समाचारपत्र ही नहीं बल्कि विचार पत्र बताते हुए कहा कि जनजातीय क्षेत्र जौनसार बावर के लिए जो काम इस छोटे से अखबार ने किया उसे कोई बडी राजनीतिक और प्रशासनिक हस्ती भी नहीं कर सकी।

श्री सुभाष कुमार ने माना कि आजादी के बाद जौनसार बावर क्षेत्र का जिस गति से विकास होना चाहिए था उस गति से नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि इसका सबसे बडा कारण यहां पर रेल लाइनों का विकास न होना रहा। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड सरकार इस क्षेत्र को विकास की मुख्यधारा से जोडने के लिए कई योजनाएं बनाई है जिसमें से एक टीएसी का गठन है। उन्होंने कहा कि कालसी,चकरात और विकास नगर क्षेत्र को मिलाकर चकराता को जिला बनाया जाएगा। जिससे इस क्षेत्र का सर्वोत्तम विकास होगा। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में व्यावसायिक खेती की बहुत संभावनाएं है इस बात के मद्देनजर सरकार यहां उच्च स्तरीय कृषि अनुसंधान केन्द्र और पशुपालन उद्योग को स्थापित करने के लिए गंभीरता से प्रयास कर रही है।

कार्यक्रम में गढवैराट का वार्षिक प्रतिवेदन प्रस्तुत करते हुए अखबार के संपादक भारत चौहान ने जौनसार बावर क्षेत्र के पिछडेपन को उठाया और कहा कि भले ही आज हम विकास की मुख्य धारा में पिछडे हुए है लेकिन हम सांस्कृतिक रूप से पूरे भारत अपनी अलग पहचान रखते है। उन्होंने कहा कि जौनसार बावर महाभारत काल का प्रमुख स्थल है और सम्राट अशोक के शिलालेख आज भी हमे इतिहास में उच्च स्थान पर स्थापित करते हैं। उन्होंने कहा कि आधुनिक लोकतंत्र में भी हमने जो कीर्तिमान बनाए है उस पर पूरे देश को रस्क हो सकता है।

उन्होंने कहा कि जौनसार बावर ही एकमात्र वह स्थान है जहां से कोई विधायक निर्विरोध निर्वाचित हुआ है। उन्होंने कहा कि आज हम ज्यों ज्यों आधुनिकता के निकट पहुंच रहे है अपनी समृद्ध विरासत को भूलते जा रहे है। श्री चौहान ने इस क्षेत्र से हो रहे पलायन को गंभीर समस्या बताते हुए कहा कि इसे रोकने के लिए जौनसार बावर के प्रवासियों को भी सक्रिय होना होगा और यहां पर रोजगार के श्रृजन के लिए पूंजी निवेश करना होगा। उन्होंने अच्छे जौनसार के लिए लोंगो को जातिवाद,क्षेत्रवाद और दलगत राजनीति से उपर उठ कर कार्य करने का आह्वान किया।

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए प्रख्यात कवि एवं साहित्यकार रतन सिंह जौनसारी ने कहा कि हिमाचल प्रदेश उन्नति कर रहा है। लेकिन उत्तराखंड पिछड रहा है। यह सोचने का समय है। ऐसा नहीं है कि यहां विकास की अच्छी योजनाएं नहीं है। यहां बहुत सी अच्छी योजनाएं हैं लेकिन उनका सही प्रकार से क्रियान्वयन नहीं हो रहा है। उन्होंने कहा कि जब से यहां उत्तराखंड राज्य बना है तब से बस गढवाल कुमाउ ही होता रहा। जबकि इन दोनों क्षेत्रों से ज्यादा पिछडापन जौनसार क्षेत्र में है लेकिन उसकी कोई बात ही नहीं करता। लेकिन जब इसका ध्यान पूर्व मुख्यमंत्री एनडी तिवारी और वर्तमान मुख्यमंत्री डा. निशंक को दिलाया गया तो इस क्षेत्र में भी विकास कि किरणंे पहुंची।

जिसका परिणाम है कि उत्तराखंड सरकार ने विधानसभा में गढवाली कुमाउनी के साथ ही जौनसारी भाषा को भी कामकाज की भाषा बनाने का प्रस्ताव विधानसभा में पारित कर महामहिम राष्ट्रपति को भेजा। उन्होंने कहा कि सरकार को राजधानी देहरादून में गढवाल और कुमाउं भवन की तर्ज पर जौनसार भवन बनाना चाहिए। जिसमें इस क्षेत्र के लोगों को प्राथकिता मिले। उन्होंने कहा कि अगर सरकार ऐसा नहीं करती है तो इस क्षेत्र के लोगों को अपने बल पर इस भवन का निर्माण करना चाहिए।

कार्यक्रम में परिचर्चा सत्र भी चला जिसमें क्षेत्र के प्रबुद्धजनों ने मुख्य सचिव से कई तरह के सवाल जवाब भी किए। क्षेत्र के वयोवृद्ध व स्वतंत्र पत्रकार द्वारिका प्रसाद उनियाल ने कहा कि जौनसार बावर क्षेत्र को 1967 में ही जनजातीय क्षेत्र घोषित कर दिया गया लेकिन बावजूद इसके यह क्षेत्र अभी भी बहुत पिछडा है। इसका प्रमुख कारण है इसका लाभ कुछ लोगों ने लूट लिया। जिसका परिणाम है यहां विकास आज भी कुछ लोगों तक ही सिमटा हुआ है।

उन्होंने मुख्य सचिव से कहा कि अगर कहीं किसी छोटी पुलिया का भी उद्घाटन कोई नेता करता है तो उसका बडे अखबारों में पूरा पेज का विज्ञापन छपता है लेकिन छोटे अखबार जो जनता के हित के लिए ईमानदार प्रयास करते है उन्हें इससे वंचित रखा जाता है। उन्होंने कहा कि आखिर ये सब जब जनता के पैसे से किया जाता है तो छोटे अखबारों के लिए भी कोई नीति होनी चाहिए।

कार्यक्रम में आए हुए अतिथियों का धन्यवाद राष्ट्रीय कबड्डी खिलाडी रणवीर सिंह तोमर ने किया। जबकि जबकि लोक गायिका शांति वर्मा ने अपने गीतों से लोगों का मन मोह लिया।

इस दौरान सचिव मुख्यमंत्री दिल्ली कुलानन्द जोशी,ब्लॉक प्रमुख कालसी कमला चौहान,एसडीएम चकराता ईला गिरी,समाजसेवी नन्दा सिंह नेगी,केशर सिंह चौहान,लोक कलाकार नन्दलाल भारती,कृपाराम जोशी,नत्थी सिंह तोमर,सतीश सिंह रघुवंशी,हिन्दुस्थान समाचार के धीरेन्द्र प्रताप सिंह,जिला सूचनाधिकारी मल्लिेकश्वर प्रसाद कैलखुरी,व्यवस्थाधिकारी कलम सिंह चौहान,हृदयनाथ नेगी,पूर्ण सिंह चौहान,राजीव ओबेरॉय,कलम सिंह बिष्ट समेत बडी संख्या में स्थनीय नागरिक मौजूद रहे।

देहरादून से धीरेन्द्र प्रताप सिंह की रिपोर्ट

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