दो औरतों के कपड़े उतारने की कहानी

मंगलवार, 19 अप्रैल 2011



इस दुनिया में साहित्यकारों से लेकर असाहित्यकारों तक यदि कोई सबसे ज्यादा सरस विषय है तो वह है औरत के कपड़े उतारने की कहानी। कभी ये बात कला में उतारी जाती है कभी चकला में। आज जिस औरत के कपड़े उतारने की कहानी हवा में तैरी वह थी किंगफ़िशर की मॉडल पूनम पाँडे की है जिन्होंने भारतीय क्रिकेट टीम द्वारा विश्वकप के जीतने पर शुभेच्छा में टीम के लिए पूर्ण निर्वस्त्र होने की घोषणा करी थी। कुछ लोगों ने इस बात पर कड़ी प्रतिक्रिया करी कि पूनम जी को कोई जानता पहचानता नहीं है इसलिये वो प्रसिद्धि का टोटका कर रही हैं। भाई सोचने की बात है कि कवियों ने कविताएं लिखीं, गायकों ने गाने गाए, चित्रकारों ने चित्र बनाए, पत्रकारों ने जम कर अखबार रंग डाले... किस लिये सिर्फ़ हौसला अफ़ज़ाई के लिये; एक हलवाई कहेगा कि मैं सारी टीम को अपनी दुकान की सबसे अच्छी मिठाई खिलाउंगा लेकिन एक देहव्यवसाय करने वाली मासूम जिसके पास कोई हुनर नहीं है तो वह प्रसन्नता में क्या पेशकश कर सकती है? जो है उसका सर्वोत्तम प्रदाय ही शुभेच्छा हो सकती है। पूनम पाँडे जी वैसे ही मात्र कच्छी-बंडी में मॉडलिंग करती हैं तो अब इसके आगे क्या कर सकती हैं?
अब बात करता हूँ दूसरी औरत की जिसने कपड़े उतारने की धुरधृष्टता करी थी वो हैं "रॉ" की पूर्व महिला अधिकारी निशाप्रिया भाटिया। इन्होंने कोर्ट में जज के मुंह पर कपड़े उतार कर मार दिये थे जिस पर जज ने इन्हें दिमागी मरीज मानते हुए पागलखाने का मार्ग दिखा दिया। इनकी सारी कहानी भड़ास पर लिखी जा चुकी है जिसमें साहस हो सच को पचाने का वह देख ले कि भड़ासी इस औरत के नंगे होने के बारे में क्या विचार रखते हैं।
उम्मीद है कि डॉ।दिव्या श्रीवास्तव जी को इस मामले में दिलचस्पी समाप्त हो चुकी होगी और अब वे नई किस्सागोई में उलझ चुकी होंगी क्योंकि उन्होंने तो इस नंगई के खिलाफ़ फ़तवा जारी कर ही दिया था अब क्या मामला है ये समझना उनका काम नहीं है।
जय जय भड़ास
संजय कटारनवरे
मुंबई

1 टिप्पणियाँ:

डॉ.रूपेश श्रीवास्तव(Dr.Rupesh Shrivastava) ने कहा…

संजय मनात येते कि जोरात मुका घेऊ तुमचा, नक्की हेच सगड़ा माझे मनात चालला होता पण कदाचित वेळ नाहीच मिळाली लिहायला।
साधुवाद स्वीकार करा आणि अमित जैन चे मागे लागू नका तो एकदम भोला-भावला मानुस वाटतय। चेटुकविद्या वर जर त्याचा विश्वास नाही तर का तुम्ही दांडुक चे जोराने स्वीकार करवणार का???
जय जय भड़ास

प्रकाशित सभी सामग्री के विषय में किसी भी कार्यवाही हेतु संचालक का सीधा उत्तरदायित्त्व नही है अपितु लेखक उत्तरदायी है। आलेख की विषयवस्तु से संचालक की सहमति/सम्मति अनिवार्य नहीं है। कोई भी अश्लील, अनैतिक, असामाजिक,राष्ट्रविरोधी तथा असंवैधानिक सामग्री यदि प्रकाशित करी जाती है तो वह प्रकाशन के 24 घंटे के भीतर हटा दी जाएगी व लेखक सदस्यता समाप्त कर दी जाएगी। यदि आगंतुक कोई आपत्तिजनक सामग्री पाते हैं तो तत्काल संचालक को सूचित करें - rajneesh.newmedia@gmail.com अथवा आप हमें ऊपर दिए गये ब्लॉग के पते bharhaas.bhadas@blogger.com पर भी ई-मेल कर सकते हैं।
eXTReMe Tracker

  © भड़ास भड़ासीजन के द्वारा जय जय भड़ास२००८

Back to TOP