उत्सव शर्मा को क्यों नहीं मार डाला गया राहुल राज की तरह..??
बुधवार, 26 जनवरी 2011
उत्सव शर्मा कौन है ये तो हर वो आदमी जानता है जो कि टीवी के खबरिया चैनल देखता है या फिर अखबार पढ़ता है। ये वो नौजवान है जिसने कुछ समय पहले रुचिका गिरहोत्रा कांड में अभियुक्त राठोड़ पर खुलेआम हमला कर के उसे जख्मी
कर दिया था। बनारस का रहने वाला ये बंदा कोई अनपढ़ जाहिल या पागल नहीं है इसने फ़ैशन डिजानिंग का अध्ययन करा है लेकिन जब कुंठा अतिरेक एकत्र हो जाए तो एक मासूम किस कदर विस्फोटक हो सकता है ये हमारे सिस्टम को समझ नहीं आ रहा है कि क्यों एक बार फिर न्याय प्रक्रिया में विलंब और अनिर्णीत सी स्थिति के चलते एक बार फिर इस जमानत पर छूटे नौजवान ने कोर्ट परिसर में ही आरुषि तलवार के पिता डा.राजेश तलवार के ऊपर गंडासे से हमला कर दिया?असल बात ये है कि इस मनोस्थिति में तो देश के लाखों जवान हैं जो कि न्यायप्रक्रिया के ढिलंगरपन से तंग आ चुके हैं और ये ह
मला अभियुक्तों पर करके न्यायपालिका के ठेकेदार बने जजों तक ये बात पहुंचाना चाहते हैं कि यदि वो ज़द में आ गये तो ये हमला उनपर होगा।
राहुल राज को मौके पर ही जान से मार दिया गया लेकिन अजमल कसाब को दामाद बना कर रखा है दो साल से ऊपर हो गए। राहुल राज तो मात्र राज ठाकरे से बात करना चाहता था लेकिन अजमल कसाब ने तो पौने दो सौ लोगों को सीधे ही मार डाला जाहिर सी बात है कि राहुल राज बड़ा अपराधी था इसलिये मौके पर ही मार देना उचित रहा होगा हमारी न्यायप्रक्रिया में तभी तो न्यायापालिका ने इस बात की जांच की मांग करते राहुल के परिवार की बात अनसुनी कर दी(हमारे प्यारे देशवासी भूल गए होंगे इस जवान को क्योंकि भूलने की बेहतरीन आदत है) उत्सव शर्मा को पगला कह कर जेल में डाल देंगे या मनोचिकित्सालय भेज देंगे जिधर वह घिस घिस कर मरेगा।
सिस्टम अभी भी नशे में है जब कुछेक जज और नेताओं को ऐसे नौजवान सीधे जहन्नुमरसीद कर देंगे तब नशा फटेगा।
जय जय भड़ास