लो क सं घ र्ष !: अगले वर्ष हिन्दुस्तान के महाभ्रष्ट को भारत रत्न मिल सकता है
बुधवार, 27 जनवरी 2010
केंद्र सरकार ने गणतंत्र दिवस के अवसर पर अनिवासी भारतीय अमेरिकन संत सिंह चटवाल को पद्मभूषण से सम्मानित किया है श्री संत सिंह चटवाल ने नब्बे लाख डालर का घोटाला स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया में किया था। जिसकी जांच सी.बी.आई ने की थी । जांच उपरांत सी.बी.आई ने संत सिंह चटवाल के खिलाफ आरोप पत्र भी दाखिल कर दिया है।
सरकार के इस कदम से यह साबित होता है कि भ्रष्टाचार व आर्थिक अपराधियों को पद्मभूषण से सम्मानित किया जाना उसको मान्यता देना है । सरकार आने वाले वर्षों में देश में सबसे बड़े आर्थिक अपराधी व भ्रष्टाचारी को भारत रत्न भी दे सकती है सरकार के इस कदम से यह लगता है की श्री संत सिंह चटवाल अगर भारतीय नागरिक होते तो उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया जा सकता था।
सरकार के इस कदम से यह साबित होता है कि भ्रष्टाचार व आर्थिक अपराधियों को पद्मभूषण से सम्मानित किया जाना उसको मान्यता देना है । सरकार आने वाले वर्षों में देश में सबसे बड़े आर्थिक अपराधी व भ्रष्टाचारी को भारत रत्न भी दे सकती है सरकार के इस कदम से यह लगता है की श्री संत सिंह चटवाल अगर भारतीय नागरिक होते तो उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया जा सकता था।
पद्मभूषण श्री संत सिंह चटवाल
2 टिप्पणियाँ:
हमें भी ऐसी योग्यताएं पैदा करने का यदि मौका मिले तो हम क्यों पीछे रहेंगे लेकिन अफ़सोस कि मौका ही न मिला कि हजारों करोड़ की हेराफ़ेरी कर पाते इसलिये कुछ नहीं तो महाभाग्य ऐसा कर पाए उन्हें कोस कास कर अपने दिल को तसल्ली दे लें इससे ज्यादा हम गरीब क्या कर सकते हैं
जय जय भड़ास
पदक रत्न और सम्मान ये अपराधी दलाली और चापलूसी के लिए ही मिलते हैं,
राष्ट्रीय और देशभक्ती के लिए इस देश में कोई पुरस्कार नहीं.
अनैतिकता और राष्ट्रद्रोहता अपने चरम पर है.
शीकंजे में है भारत माँ.
राष्ट्र द्रोही अपने घरों में ही तो है.
जय जय भड़ास
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